आज के समय में बालों के झड़ने की समस्या आम बनते जा रहीं है, क्युकी जितने भी बालों में लगाने वाले शैम्पू या अन्य हेयर प्रोडक्ट होते है, उनमें केमिकल की मात्रा ज्यादा होने के कारण इनका असर हमारे बालों पर गलत पड़ने लगता है। वहीं अगर आपके बाल बहुत ज्यादा झड़ने लग जाए तो समझ जाए की आपके बाल एलोपेसिया एरीटा की समस्या का सामना कर रहें है पर परेशान न होए हम इस समस्या से आपको बाहर निकालने के विकल्प के बारे में जरूर बताएंगे ;
एलोपेसिया एरीटा क्या है ?
- एलोपेसिया एरीटा एक बीमारी है, जिससे पीड़ित व्यक्ति के बाल असामान्य तरीके से झड़ते है।
- पहले इस समस्या को एक संक्रामक बीमारी या इंफेक्शन से फैलने वाली बीमारी के रूप में जाना जाता था।
- लेकिन रिसर्च के बाद विशेषज्ञों ने इसे एक ऑटोइम्यून डिसऑर्डर का नाम दे दिया है।
- वहीं इस परेशानी को दूर करने के ढेरों उपाय मौजूद है, जिसमें होम्योपैथिक, आयुर्वेदिक और एलोपैथी दवा, थेरेपी, और कुछ मामलों में घरेलू नुस्खे, लाइफस्टाइल में बदलाव लाकर भी आप इस समस्या से खुद का बचाव कर सकते है।
एलोपेसिया एरीटा के कारण क्या है ?
- आनुवंशिक कारणों में यदि व्यक्ति के परिवार में पहले किसी को यह समस्या रही है, तो उसे भी इसके होने की पूरी आशंका रहती है।
- कई दफ़ा महिलाओं में प्रेगनेंसी के समय एलोपेसिया की समस्या शुरू हो जाती है, जो बाद में ठीक हो जाती है, लेकिन कुछ लोगों में नहीं भी ठीक होती है।
- मेनोपॉज के दौरान और थायरॉयड होने पर भी बालों के झड़ने की समस्या यानी एलोपेसिया शुरू हो जाता है।
- कैंसर, आर्थराइटिस, ह्रदय रोग, गाउट, डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर की दवाइयों के साइड इफेक्ट्स के तौर पर भी एलोपेसिया के लक्षण दिख सकते है।
- कभी- कभार कुछ हेयर प्रोडक्ट्स के इस्तेमाल और हॉट हेयर ट्रीटमेंट से भी एलोपेसिया की समस्या दिख सकती है।
- उम्र बढ़ने के साथ भी बालों के झड़ने की समस्या हो जाती है।
- किसी ट्रॉमा, तनाव और चिंता से भी व्यक्ति के बाल तेजी से झड़ने शुरू हो जाते है, तो कभी- कभार ऑटो- इम्यून कंडीशन के कारण भी बालों का गिरना शुरू हो जाता है।
बालों के झड़ने के कारण आपकी समस्या लगातार बढ़ते जा रहीं है, तो इससे बचाव के लिए आपको बालों की सर्जरी का चयन करने से पहले एक बार पुणे में हेयर ट्रांसप्लांट की लागत कितनी है उसके बारे में जरूर जानें।
एलोपेसिया एरीटा की बीमारी का पता कैसे लगाया जा सकता है
- एलोपेसिया को ट्रायकोलॉजिस्ट के द्वारा ही पता लगाया जा सकता है। वहीं इस समस्या को जानने के लिए ब्लड टेस्ट कराया जाता है, जिससे शरीर में ऑटो इम्यून डिजीज का पता लगता है।
- कभी- कभार बालों की स्थिति का पता लगाने के लिए भी अलग से टेस्ट किया जाता है। स्किन बायोप्सी भी एलोपेसिया का पता लगाने के लिए की जाती है।
एलोपेसिया का इलाज घरेलू उपाय की मदद से कैसे किया जा सकता है ?
- अगर आप बालों के झड़ने की समस्या से बहुत ज्यादा परेशान है तो इससे बचाव के लिए आपको प्याज के रस को अपने बालों पर लगाना चाहिए।
- शहद के साथ जैतून का तेल लगाने से आप एलोपेसिया की समस्या से निजात पा सकते है।
- नारियल का तेल भी एलोपेसिया के मरीज के लिए रामबाण दवाई के रूप में जाना जाता है।
- प्राकृतिक एलो वेरा को हफते में दो से तीन बार लगाने से आप एलोपेसिया की समस्या से निजात पा सकते है।
इन घरेलु उपाय को अपनाने से पहले एक बार बालों के सर्जन से जरूर जानकारी लें।
एलोपेसिया एरीटा के लक्षण क्या है ?
- एलोपेसिया एरीटा में बाल झड़ने पर सिर पर गोल- गोल पैच दिखाई देने लगते है।
- जब व्यक्ति सो कर सुबह जागता है, तो उसके तकिये पर भी झड़े हुए बाल दिखते है।
- कहीं से बाल अधिक झड़ते है, तो कहीं से बहुत कम, कहने का मतलब यह है कि बालों का गिरना एक समान नहीं रहता।
- एलोपेसिया टोटलिस में स्कैल्प से अधिकतर बाल गिर जाते है।
- एलोपेसिया यूनिवर्सल में सिर के बालों के साथ शरीर के बाल भी झड़ने लगते है।
- कभी-कभी एलोपेसिया व्यक्ति के नाख़ून पर भी असर डालता है और नाख़ून टूटने लग जाते है।
आपके बाल ज्यादा झड़ने के कारण अगर उनमे गोल पेच दिखाई देने लग गए है, तो इससे बचाव के लिए आपको लुधियाना में हेयर ट्रांसप्लांट सर्जरी का चयन करना चाहिए।
एलोपेसिया एरीटा के इलाज क्या है ?
- एलोपेसिया के इलाज के लिए कई तरीके मौजद है। लेकिन डॉक्टर आपके इलाज का माध्यम आपकी सेहत, सिर के स्किन का स्वास्थ्य, एलोपेसिया कि गंभीरता को देखने, समझने और और इसकी जांच करने के बाद तय करते है।
- वहीं इसका इलाज हर मरीज पर अलग-अलग तरह से किया जाता है, क्योंकि कई बार कुछ मरीज को बिना किसी इलाज के बाल फिर से दोबारा उग जाते है, जबकी कुछ लोगों को दवाओं या थेरेपी की आवश्यकता पड़ती है।
- इसके अलावा वैकल्पिक थेरेपी के जरिए एलोपेसिया का इलाज पूरी तरह से संभव माना जाता है।
- वहीं कुछ मुख्य थेरेपी मौजूद है, जिनकी मदद से बालों को टूटने एंव झड़ने से बचाया जा सकता है। और इन थेरेपी की बात करें तो इनमें अरोमाथेरेपी, एक्यूपंक्चर और हर्बल सप्लीमेंट्स आदि शामिल है।
- एलोपेसिया एरीटा के लक्षणों को पहचानने के बाद कई बार विशेषज्ञ दवाओं का सेवन करने की भी सलाह देते है। मतलब अगर लक्षण सामान्य है तो दवाइयों से मरीज़ को ठीक किया जा सकता है, नहीं तो सर्जरी या थेरेपी तो करना ही पड़ता है।
- कुछ मामलों में बाल को दोबारा उगाने के लिए फोटोकीमोथेरेपी भी कि जाती है। अगर आप भी इस समस्या से परेशान है, तो डॉक्टर से मिलने के बाद अपनी इस समस्या से छुटकारा पा सकते है।
ध्यान रहें :
एलोपेसिया एरीटा की समस्या गंभीर होने पर आपको इसे नज़रअंदाज़ नहीं करना चाहिए, बल्कि इसके इलाज के लिए आपको एएसजी हेयर ट्रांसप्लांट सेंटर का चयन करना चाहिए।
निष्कर्ष :
एलोपेसिया या बालों का झड़ना गंभीर समस्या है और ये समस्या किसी भी उम्र के लोगों को अपना शिकार बना सकती है। इसलिए जरूरी है की इसके शुरुआती लक्षण दिखने पर आपको डॉक्टर का चयन करना चाहिए, नहीं तो बालों का झड़ना अपने साथ और भी कई सारी समस्याएं उत्पन्न कर सकता है। इसके अलावा आप चाहें तो बालों के झड़ने की समस्या से बचाव के लिए कुछ घरेलु उपाय को भी अपना सकते है, पर डॉक्टरी सलाह जरूरी है।